महिलाओं में होने वाले सभी रोगों का सफल आयुर्वेदिक इलाज || मासिक धर्म अनियमितता ,श्वेत प्रदर (लिकोरिया), योनि विस्थापन

 स्त्री रोग



मासिक धर्म सम्बन्धी विकार

लक्षणः

• मासिक धर्म के समय पेट में दर्द |

• अनियमितता, खून की कमी व कमजोरी होना।

• सिर दर्द, कब्ज और चिड़चिड़ापन ।

सुझाव:

• नमक, मिर्च-मसाले, तली-भुनी चीजें, मिठाईयां इत्यादि का सेवन न करें।

• शारीरिक वजन को नियमित रखें।

• नियमित रूप से व्यायाम करें।

• हरी पत्तेदार सब्जियों का सेवन करें।

उपचारः

• 30-30 मि.ली. एलो संजीवनी जूस + एलोवेरा जूस + हिमालयन बेरी + श्री तुलसी

• 2-2 बूँदें सुबह व शाम खाली पेट सेवन करें। टैबलेट व्हीट गोल्ड 1 सुबह 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट टरू नाइट पावर 1 सुबह 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट प्यारी सहेली 1 सुबह 1 शाम सेवन करें। सिरप प्यारी सहेली 10 मि.ली. सुबह 10 मि.ली. शाम सेवन करें।


रजोनिवृत्ति (Menopause )

लक्षणः

• मासिक धर्म का समय पर ना आना और देर से आना और फिर बन्द हो जाना।

• थकावट, शारीरिक वजन का बढ़ना, चेहरे पर झुर्रियां आना तथा मानसिक स्थिति में लगातार बदलाव आना।

सुझाव:

• दिनचर्या में व्यायाम, योग व प्राणायाम करें।

• संतुलित आहार का सेवन करें

• धूम्रपान व मदिरापान न करें।

उपचारः

• 30-30 मि.ली. एलो संजीवनी जूस + एलो वेरा जूस + हिमालयन बेरी + श्री तुलसी 2-2 बूँदें सुबह व शाम खाली पेट सेवन करें।

• टैबलेट व्हीट गोल्ड 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

•टैबलेट टरू नाइट पावर 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट डेली डाइट 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट प्यारी सहेली 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• सिरप प्यारी सहेली 10 मि.ली. सुबह, 10 मि.ली. शाम सेवन करें।


श्वेत प्रदर (लिकोरिया)

लक्षणः

• योनि से सफेद रंग का स्राव निकलना कभी-कभी यह स्राव पीलापन लिये और रोग

पुराना होने पर काला भी हो सकता है। 

• कपड़ों से बदबू आना तथा चिपचिपा बना रहना।

• पेट के निचले भाग में (पेडू) सूजन की वजह से दर्द होना। कब्ज और थकावट होना ।

• आपसी संबंध बनाते हुये कमर व पेडू में दर्द रहना। 

• शरीर में थकावट होना और योनि मार्ग में लाली और सफेद फिंसी होना या खारिश होना।

• स्वभाव में चिड़चिड़ापन, खून की कमी व मासिक अनियमित होना।

• कभी-कभी रक्त मिला स्स्राव भी होता है जिसे रक्त प्रदर भी कहते है।

सुझाव:

• अत्यधिक भारी काम न करें।

• अपना तथा अपने वस्त्रों की साफ-सफाई का ध्यान रखें। 

• वस्त्रों को किसी दूसरे व्यक्ति के साथ शेयर न करें।

• अधिक से अधिक जल, सूप और जूस पियें।

• तली-भुनी व मिर्च मसाले युक्त पदार्थों का सेवन न करें।

उपचार:

• 30–30 मि.ली. एलो संजीवनी जूस + एलो वेरा जूस + हिमालयन बेरी + श्री तुलसी 2-2 बूँदें सुबह व शाम खाली पेट सेवन करें।

• टैबलेट व्हीट गोल्ड 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट टरू नाइट पावर 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट डेली डाइट 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट प्यारी सहेली 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• सिरप प्यारी सहेली 10 मि.ली. सुबह, 10 मि.ली. शाम सेवन करें।

• हर्बल फेमी टाइट का प्रयोग करें।


योनि विस्थापन

लक्षणः

• प्रसव के समय कम दर्दों में ज्यादा जोर लगवाने से गर्भाशय का अपनी जगह से

हिल जाना।

• प्रसव के पश्चात् जल्दी ही भारी वजन इत्यादि उठाना

• श्वेत प्रदर (लिकोरिया) का ज्यादा समय तक रहने से गर्भाशय का अपने हिल जाना।

• कमर में दर्द रहना और गर्भाशय का योनि मार्ग से बाहर दिखाई देना।

सुझाव:

• अधिक भारी वस्तुओं को ना उठायें।

• पाव के बल ना बैठें। 

• मैथुन से परहेज करें।

उपचारः

• 30–30 मि.ली. एलो संजीवनी जूस + एलो वेरा जूस + हिमालयन बेरी + श्री तुलसी 2-2 बूंदें सुबह व शाम खाली पेट सेवन करें।

• टैबलेट व्हीट गोल्ड 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट टरू नाइट पावर 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट डेली डाइट 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट प्यारी सहेली 1 सुबह, 1 शाम सेवनकरें।

• सिरप प्यारी सहेली 10 मि.ली. सुबह, 10 मि.ली. शाम सेवन करें। 

• कच्ची फिटकरी के जल से योनि मार्ग को धोकर फेमी टाईट क्रीम का प्रयोग सुबह-रात को योनिमार्ग में प्रयोग करें।

 योनि वात

लक्षण:

• योनिमार्ग से हवा का आवाज के साथ निकलना।

• मासिक धर्म में गड़बड़ी ।

• गर्भाशय में हवा का भरना ।

सुझाव:

• योनिमार्ग की सफाई का ध्यान रखें।

• गलत ढंग से मैथुन न करें।

उपचारः

• 30-30 मि.ली. एलो संजीवनी जूस + एलोवेरा जूस + हिमालयन बेरी + श्री तुलसी 2-2 बूँदें सुबह व शाम खाली पेट सेवन करें।

• टैबलेट व्हीट गोल्ड 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट टरू नाइट पावर 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट डेली डाइट 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट प्यारी सहेली 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। .

• सिरप प्यारी सहेली 10 मि.ली. सुबह, 10 मि.ली. शाम सेवन करें। 

• कच्ची फिटकरी के जल से योनि मार्ग को धोकर फेमी टाइट जैल का प्रयोग सुबह-रात को योनिमार्ग में प्रयोग करें।


योनि दाह

लक्षणः

• योनि मार्ग में जलन के साथ हल्का दर्द रहना।

• योनि मार्ग में खारिश का होना।

सुझाव:

• फिटकरी (कच्ची) के चूर्ण से योनि को धोना । • योनि प्रदेश की साफ सफाई का ध्यान दें।

• आंवला जूस का सेवन करें।

उपचारः

• फिटकरी वाले जल से योनि प्रदेश को साफ कर हर्बल फेमी टाइट क्रीम का सुबह-शाम प्रयोग करें।

• श्री तुलसी की दो बूँद पानी में डालकर सुबह व शाम सेवन करें। 

• टैबलेट प्यारी सहेली 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• सिरप प्यारी सहेली 10 मि.ली. सुबह, 10 मि.ली. शाम सेवन करें।

रजो दोष

लक्षणः

• मासिक धर्म का सही समय पर ना आना।

• युवावस्था में गर्भाशय पर चर्बी चढ़ने से मासिक धर्म रूक जाता हैं।

• खून की कमी से मासिक धर्म कम आना ।

सुझाव:

• वजन को नियंत्रित करें।

• खून की कमी न होने दें।

• श्वेत प्रदर व रक्त प्रदर ना होने दें। 

• पूरे पेट की अल्ट्रासाउंड जांच करवायें।

उपचारः

• 30-30 मि.ली. एलोवेरा जूस + हिमालयन बेरी जूस + हर्बल गौमूत्र + श्री तुलसी 2–2 बूँदें सुबह व शाम खाली पेट सेवन करें।

• टैबलेट व्हीट गोल्ड 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• टैबलेट प्यारी सहेली 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट टरू हैल्थ 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।

• टैबलेट डेली डाइट 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें।


स्तन रोग

लक्षणः

• स्तनों का ढीला हो जाना।

• स्तनों का आकार छोटा होना।

उपचारः

• 30 मि.ली. एलो नोनी जूस + श्री तुलसी 2-2 बूँदें सुबह-शाम खाली पेट सेवन करें।

• टैबलेट वीटा डाइट 1 सुबह, 1 शाम सेवन करें। 

• हर्बल ब्रेस्ट फिट क्रीम का प्रयोग सुबह-शाम करें।



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